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"जिंदगी से हर पल एक मोज मिली,
कभी कभी नहीं हर रोज मिली,
बस एक अच्छा दोस्त मांगता था जिन्दगी से…
पर मुझे तो पूरी विद्वानों  की फौज मिली !"
 

"फूलो से क्या दोस्ती करते हो,
फूल तो मुरझा जाते है,
अगर दोस्ती करनी है तो कॅंटो से करो,
क्यूकी वो चुभ कर भी याद आते है.”
 

"आज होटल वाले ने जब मुझसे पूछा,
चाय के साथ क्या ला दूँ ..
तब मन से एक ही बात निकली,
पुराने दोस्त ला सकते हो क्या…!!"
 

"कोई भी व्यक्ति हमारा मित्र या शत्रु बनकर संसार में नहीं आता..
हमारा व्यव्हार और शब्द ही लोगों को मित्र और शत्रु बनाते हैं..!!"


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